Kuldhara Rajasthan: जैसलमेर की यात्रा पर आने वाले सैलानियों के मन में एक रहस्यमयी गांव को देखने की भी इच्छा रहती है जिसका नाम कुलधरा है। यह गांव शहर से 20 किमी की दूरी पर स्थित है। इस जगह पर सबसे अधिक पर्यटक आते हैं। आप जब इस जगह की यात्रा करेंगे तो पाएंगे की सचमुच यह गांव बहुत ही अलग और अनोखा है। इस जगह के अतीत और उस अतीत से जुड़ी ना जाने कितनी कहानियों से आप गुजरेंगे। कुलधरा के बारे में तरह-तरह की बातें की जाती हैं लेकिन इस गांव का आज भी अपना एक जीता जाता वर्तमान है। इस जगह पर इतनी वीरानी फैली हुई है कि देखकर पुरानी कहानियां सच लगने लगती हैं। अपनी जैसलमेर यात्रा के दौरान इस गांव को देखा और उन बातों को जानने और समझने का प्रयास किया जो वर्षों से सुनता आया था। कुछ लोग कुलधरा गांव (Kuldhara Rajasthan) को डरावना और भूतिया बताते हैं। ऐसा कहा जाता है कि इस गाँव में और इसके आसपास कई भूतिया और असामान्य गतिविधियों की कहानी रही है लेकिन इस बात का कोई आज तक ठोस सबूत नहीं दे सका।
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कुलधरा गांव का इतिहास
कुलधरा गांव अपनी स्थापत्य सुंदरता और इतिहास की वजह से घूमने की एक बहुत रोचक जगह है। वैसे तो इस गांव से जुड़े रहस्य और इतिहास दोनों ही काफी चर्चित और प्रसांगिक हैं। लेकिन अगर आप जैसलमेर घूमने का मन बना रहे हैं तो इस जगह पर जरूर आएं। शहर से दूर रेगिस्तान में इस जगह को देखना मुझे काफी पसंद आया। इस जगह पर ज्यादा लोग तो नहीं थे लेकिन कुछ लोगों ने बताया कि यह गांव मूल रूप से ब्राह्मणों द्वारा बसाया गया था जो पाली क्षेत्र से जैसलमेर आए थे और एक कुलधरा नामक (Kuldhara Rajasthan) गांव में जाकर बस गए थे।
पुस्तकों और साहित्यिक लेखों से मुझे पता चला कि कधान नामक पाली के एक ब्राह्मण ने इस जगह पर अपना घर बनाया था और यहां एक तालाब खोदकर इसका नाम उधासर रखा। पाली ब्राह्मणों को पालीवाल कहते थे और यहीं से उनके वंश का नाम आता है। इस जगह पर कई ऐसे शिलालेख और नक्काशी भी पाए गए जिसमें से कई ने कुलधरा का उल्लेख ब्राह्मण जाति के निवास के रूप में हुआ है। कई विद्वानों का यह भी मानना है कि कुलधरा में पालीवाल ब्राह्मणों के निवास की वजह से उनकी जाति से इस गांव का नाम पड़ा है। मुझे इस जगह पर एक और जो महत्वपूर्ण बात पता चली वह यह है कि यहां लोग अंतर-जातीय विवाह भी करते थे। लेकिन यह केवल ब्राह्मणों के बीच प्रचलित थी।
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कुलधरा गांव की कहानी
एक कहानी जो सबसे ज्यादा प्रचलित है वह यह कि कुलधरा गांव बहुत विकसित था फिर भी इसको रातों-रात वीरान करना पड़ा। इसकी वजह था दीवान सालम सिंह, जिसकी नजर गांव की एक खूबसूरत लड़की पर थी। दीवान लड़की के पीछे पागल था और किसी तरह से उसे पा लेना चाहता था। इसके लिए ब्राह्मणों पर दबाव बनाना शुरू कर दिया। लड़की के घर संदेश भिजवाया कि यदि लड़की नहीं मिली तो वह गांव पर हमला करके लड़की को उठा ले जाएगा। गांववालों के लिए यह मुश्किल की घड़ी थी कि क्या किया जाए और उन्होंने इस पर विचार करने के लिए एक बैठक की। सभी ने आपस में फ़ैसला किया और अपनी इज़्ज़त को गवाने से बेहतर लोगों ने कुलधरा गांव (Kuldhara Rajasthan) खाली करने को सही समझा और रातों-रात सभी गांव छोड़कर चले गए।
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कुलधरा में क्या कर सकते हैं?
कुलधरा में आकर आप यह समझने की कोशिश कर सकते हैं कि यह पहले कैसा था और अब कैसा है। एक विशाल क्षेत्र में फैले कुलधरा गांव (Kuldhara Rajasthan) में कुल पचासी आवास शामिल हैं। सभी अपनी जीर्णशीर्ण अवस्था में हैं। सभी की दीवालें टूटी हुईं हैं। इस गांव के पास एक पुराना देवी मंदिर भी है जिसके अंदर कई शिलालेख मौजूद हैं। जिन्हें इतिहास और पुरातत्व में दिलचस्पी है वह इस जगह पर जाकर इन्हें देख अथवा इनका अध्ययन कर सकते हैं। यह जगह फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी के शौक़ीन लोगों के लिए भी एक अच्छा विकल्प उपलब्ध कराती है। इस जगह पर लोग फोटोग्राफी, वीडियोग्राफी और लघु फिल्म निर्माण के लिए भी आते हैं।
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